ओबीसी महासभा ने संख्या के बराबर आरक्षण की करी मांग
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त्रिनेत्र टाइम्स कोरबा ****/ ओबीसी महासभा द्वारा एक पत्र प्रदेश के मुख्यमंत्री विष्णु देव साय, उप मुख्यमंत्री व विधि-विधायी कार्यमंत्री अरुण साव, नेता प्रतिपक्ष डॉ. चरणदास महंत को भेजा गया है। जिसमें मांग की गई है कि छत्तीसगढ़ पंचायत राज एवं नगर पालिका निगम संशोधन अध्यादेश 2024 में संशोधन कर ओबीसी को संख्या के बराबर आरक्षण दिया जाए।
ओबीसी के पूर्व प्रदेश महासचिव मिलन दास दीवान ने जानकारी देते हुए कहा हैं कि अनुसूचित जनजातियों का कुल आरक्षण 50 प्रतिशत या 50 प्रतिशत से अधिक होने की स्थिति में अन्य पिछड़ा वर्ग के लिए स्थान आरक्षित नहीं किए जाने का उल्लेख है। जो कि अन्य पिछड़ा वर्ग के नागरिकों के साथ अन्याय है। क्योंकि अनुसूचित क्षेत्र में निवासरत ओबीसी समुदाय भी सामाजिक एवं शैक्षिक दृष्टि से पिछड़ा है। संविधान में उचित आरक्षण का प्रावधान है एवं 50 प्रतिशत की सीमा निर्धारित नहीं है। 50 प्रतिशत सीमा निर्धारण संबंधी सुप्रीम कोर्ट के निर्णय में यह सिद्धांत भी प्रतिपादित किया गया है कि किसी क्षेत्र में निवासरत दूरस्थ क्षेत्र के व्यक्तियों की विशेष परिस्थितियों को देखते हुए 50 प्रतिशत की अधिकतम सीमा को शिथिल कर सीमा बढ़ाई जा सकती है। दीवान ने पत्र के माध्यम से कहा है कि 3 दिसंबर को पारित अध्यादेश को संविधान के अनुच्छेद 16 (4) के अनुरूप अन्य पिछड़ा वर्ग को पर्याप्त आरक्षण दिया जाए। अन्यथा ओबीसी महासभा चरणबद्ध आंदोलन के लिए बाध्य होगी।