सफला एकादशी 15 दिसंबर को, व्रत-पारण 16 को — पाप नाश और मोक्षदायिनी एकादशी का विशेष महत्व






त्रिनेत्र टाइम्स कोरबा ****/ कोरबा। पौष कृष्ण पक्ष की सफला एकादशी का पावन पर्व इस वर्ष विशेष धार्मिक महत्व के साथ मनाया जाएगा। नाड़ीवैद्य पंडित डॉ. नागेंद्र नारायण शर्मा के अनुसार, सफला एकादशी की तिथि 14 दिसंबर 2025, रविवार को सायं 06:49 बजे से प्रारंभ होकर 15 दिसंबर 2025, सोमवार को रात्रि 09:19 बजे तक रहेगी। उदया तिथि के अनुसार, सफला एकादशी का व्रत सोमवार, 15 दिसंबर 2025 को रखा जाएगा, जबकि व्रत-पारण मंगलवार, 16 दिसंबर 2025 को प्रातः 07:06 बजे से 09:11 बजे के बीच किया जा सकेगा।
धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, सफला एकादशी का व्रत पापों के नाश, आत्मिक शुद्धि और मोक्ष प्राप्ति का मार्ग प्रशस्त करता है। इस एकादशी का विशेष माहात्म्य पुराणों में वर्णित है। कथा के अनुसार, चम्पावती नगरी के राजा महिष्मान का पुत्र लुम्पक अपने दुराचारों के कारण राज्य से निष्कासित हो गया। वन में रहते हुए उसने अनजाने में एकादशी व्रत, उपवास और जागरण किया। पीपल वृक्ष के नीचे फल अर्पित कर उसने ईश्वर का स्मरण किया, जिससे भगवान श्रीनारायण प्रसन्न हुए और उसके समस्त पाप नष्ट हो गए। दैवी कृपा से उसे राज्य, वैभव और अंततः वैकुंठ की प्राप्ति हुई।
पंडित डॉ. नागेंद्र नारायण शर्मा ने बताया कि इस व्रत का श्रवण या पठन करने मात्र से अश्वमेध यज्ञ के समान फल की प्राप्ति मानी गई है। श्रद्धालु इस दिन विष्णु-पूजन, जप-तप, दान-पुण्य, जागरण तथा सात्त्विक आहार का पालन कर पुण्य लाभ अर्जित करते हैं।
उन्होंने श्रद्धालुओं से आग्रह किया कि व्रत-पारण निर्धारित मुहूर्त में ही करें और पूरे दिन भक्ति, संयम और सेवा के भाव के साथ सफला एकादशी का पालन करें, जिससे जीवन में सफलता, शांति और आध्यात्मिक उन्नति प्राप्त हो।





